विटामिन D हमारे लिए कितना आवश्यक है..?
एक स्वस्थ शरीर के सुचारू क्रियान्वयन के लिए बहुत से विटामिन की आवश्यकता होती है,उन विटामिन्स में से एक महत्वपूर्ण है विटामिन डी | बीमारियों से दूर रहने के लिए सभी पोषक तत्वों की तरह विटामिन डी से भरपूर खानपान की चीजों को अपनी दैनिक डाइट में शामिल करना चाहिए। विटामिन D का सबसे बड़ा स्रोत सूरज की रौशनी है। विटामिन डी को Sunshine Vitamin नाम से भी जाना जाता है। यह विटामिन हमारे शरीर को कई प्रकार से फायदा पहुंचाता है | हड्डियों और दांतों को स्वस्थ और मजबूत बनाना इसके प्रमुख फायदा में आते हैं।
विटामिन डी क्या है..?
विटामिन डी वसा में आसानी से घुलने वाले स्रावी स्टेरॉयड का एक समूह है जिसके अंतर्गत डी1, डी2 और डी 3 आते हैं। शरीर में विटामिन डी की कमी होने पर हड्डियां कमजोर और पतली हो जाती हैं।
विटामिन D के प्रकार
विटामिन D दो प्रकार के होते हैं जिसमें पहला विटामिन D2 (एग्रो कैल्सी फेरल) और दूसरा विटामिन D 3 (कॉलेकैल्सिफेरॉल) है।
विटामिन D2 का उत्पादन मनुष्य के शरीर में नहीं होता है, इसे पौधों से प्राप्त किया जाता है। पौधे विटामिन डी2 का उत्पादन सूरज की पराबैंगनी किरणों की उपस्थिति में करते हैं। वहीं विटामिन D3 का उत्पादन मनुष्य के शरीर में होता है। इस विटामिन का निर्माण मनुष्य द्वारा सूरज की किरणों से प्रतिक्रिया होने पर होता है। विटामिन D3 की पूर्ति मछलियों के सेवन और दूसरे भी अन्य खाने वाले चीजों से प्राप्त किया जाता है।
विटामिन डी की कमी होने के कारण
- अधिकतर समय तक कमरे में रहने से
- बाहर धुप में नहीं निकलने से
- दूध, दही और मक्खन का सेवन कम करना या नहीं करना
- फास्ट फूड्स और कोल्ड ड्रिंक्स का अधिक सेवन करना
- कामकाजी लोगों का नाइट शिफ्ट में काम करने से
- अधिकाधिक स्त्रियों को गर्भवती होने पर
- मांसाहारी लोगों के मुकाबले शाकाहारी लोगों में विटामिन डी की कमी का खतरा अधिक होता है
विटामिन डी की कमी के लक्षण
- थकान महसूस करना:- विटामिन डी की कमी होने पर पूरे दिन शरीर में थकावट महसूस होता है। नींद पूरी होने के बाद भी थकान और कमजोरी महसूस होना विटामिन डी की कमी का संकेत है।
- हड्डियों और पीठ में दर्द:- हड्डियों और खासकर पीठ में दर्द होना विटामिन डी की कमी के मुख्य लक्षण हैं। कैल्शियम हड्डियों और दांतों को मजबूत बनाता है, विटामिन डी की कमी होने के कारण कैल्शियम शरीर में शोषित नहीं हो पाता है।
- घाव ठीक नहीं होना:- शरीर में किसी प्रकार के घाव या चोट लगने पर जल्दी ठीक नहीं होते हैं। इसके साथ ही, विटामिन डी की कमी के कारण जलन और इन्फेक्शन का खतरा भी बना रहता है।
- बालों का झड़ना:- कुछ रिसर्च में पाया गया है कि विटामिन डी की कमी के कारण बाल भी झड़ने लगते हैं।
- मूड में बदलाव आना:- विटामिन डी की कमी होने पर मूड में अचानक बदलाव आ जाता है। कुछ लोगों को डिप्रेशन भी हो सकता है।
अगर आप इन लक्षणों को अनुभव करते हैं तो बिना देर किये डॉक्टर से परामर्श करना चाहिए।
विटामिन डी की कमी से होते हैं ये नुकसान
विटमिन डी की कमी के कारण शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है जिसके कारण हमेशा थकान महसूस होता है। इसके साथ हीं निम्न परेशानियां आपको हो सकती हैं :-
- थकान
- सुस्ती
- उदासी
- बाल झड़ना
- हड्डियों में दर्द
- पीठ में दर्द
- मांसपेशियों में दर्द
- घाव या जख्म दर्द ठीक नहीं होना
- इम्युनिटी कमजोर होना
- धूप विटामिन डी का सबसे अच्छा निःशुल्क और प्राकृतिक स्रोत है। धूप से अपने शरीर में विटामिन डी की कमी को पूरा किया जा सकता है| धूप से विटामिन डी पाने के लिए रोजाना सुबह कुछ समय तक धूप में बैठना श्रेयष्कर है।
अंडा में भरपूर मात्रा में पोषक तत्व पाए जाते हैं। अंडा की जर्दी में विटामिन डी मौजूद होता है। अगर आप विटामिन डी की कमी को पूरा करना चाहते हैं तो अंडा का सेवन आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। अगर आप मांसाहारी
हैं तो कुछ ख़ास तरह की मछलियां आपके लिए फायदेमंद हो सकती है। हेरिंग, टूना, मैकेरल और सैल्मन मछलियों में विटामिन डी भरपूर मात्रा में पाया जाता है। आप इन मछलियों को अपनी डाइट में शामिल कर सकते हैं।
गाय का दूध विटामिन डी और कैल्शियम का सबसे अच्छा स्रोत है। विटामिन डी की कमी को पूरा करने के लिए रोजाना एक गिलास गाय का दूध पीना फायदेमंद है|
उपरोक्त सभी जानकारियों से आप अपने शरीर में विटामिन डी की कमी को आसानी से पूरा कर सकते हैं। लेकिन विशेष परिस्थिति में डॉक्टर से अवश्य परामर्श लें..